लोकसभा चुनाव 2024 को देखते हुए समाजवादी पार्टी ने सभी दलों को पीछे छोड़ते हुए सबसे पहले 16 प्रत्याशियों की घोषणा कर दी है। जिसमें कानपुर देहात के अकबरपुर लोकसभा में पिछड़े मतदाताओं को अपने पाले में एकजुट करने के लिए पूर्व सांसद राजाराम पाल पर ही दांव लगाया है। इसके पीछे की मुख्य वजह पिछड़ों में अच्छी पकड़ का रखना माना जा रहा है। वही राजाराम पाल करीब एक वर्ष से अधिक समय से सपा में सक्रिय हैं। वही समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अखिलेश यादव भी कई बार मंच से राजारमपाल के कामों की व पार्टी के प्रतिनिष्ठा की तारीफ भी कर चुके हैं।
1996 में बने थे विधायक –
समाजवादी पार्टी के अकबरपुर लोकसभा से बनाए गए प्रत्याशी राजाराम पाल 1996 में बसपा से घाटमपुर से विधायक रहे। उन्होंने 2004 में लोकसभा चुनाव में अपना भाग्य आजमाया और जीत हासिल की। वह कांग्रेस में शामिल हुए और 2009 में अकबरपुर लोकसभा क्षेत्र से जीतकर दोबारा सांसद बने। कांग्रेस में बड़े पद पर रहे लेकिन विधानसभा चुनाव के पहले बीते वर्ष सपा में शामिल हो गए थे।
सपा में राष्ट्रीय महासचिव के पद पर हैं –
समाजवादी पार्टी के अकबरपुर लोकसभा से बनाए गए प्रत्याशी राजाराम पाल अकबरपुर लोकसभा क्षेत्र से बसपा और कांग्रेस से सांसद रह चुके राजाराम पाल एक वर्ष पहले कांग्रेस छोड़कर सपा में शामिल हुए थे। अखिलेश यादव ने उनको राष्ट्रीय महासचिव का भी पद दिया और कई सभा में वह साथ रहे। ऐसे में माना जा रहा था कि चुनाव में टिकट उनको ही मिलेगा। इसके बाद से राजाराम पाल ने सक्रियता बढ़ा दी थी और गांव से लेकर कस्बों में लोगों से मिल रहे थे।